जिन शासन गौरव, आध्यात्म योगी आचार्य पूज्य श्री उमेश मुनि जी के शिष्य बुद्ध पुत्र, आगम विशारद प्रवर्तक पूज्य श्री जिनेंद्र मुनि जी के सानिध्य में इस वर्ष भी आखातीज पर वर्षीतप पारणा महोत्सव का आयोजन कुशलगढ़ राजस्थान में होना था लेकिन कोरोना वायरस के चलते कार्यक्रम को निरस्त कर दिया गया। तप आराधकों का रविवार को तपस्या का बहुमान भी ऑनलाइन ही किया जाएगा। सभी तपस्वी अपने घर पर डेढ़ पारसी का सुबह 11 बजे अपने परिवार के सदस्यों के हाथों से गन्ने के रस से पारणा करेंगे।
पारणा महोत्सव कार्यक्रम में निमाड़, मालवा सहित कई राज्यों के सैकड़ों वर्षीतप तपस्वी कार्यक्रम में संत सतियों के सानिध्य होने वाले इस आयोजन में भाग लेने परिवार के साथ पहुंचते थे। अब तप आराधकों को घर पर ही रहते हुए वर्षीतप का पारणा अपने परिवार के साथ ही करना है। नगर में उपवास वर्षीतप के तपस्वी सुशीला डाकोलिया, मधु छाजेड़, दिव्या डोसी, रश्मि छाजेड़ व एकासन वर्षीतप के तपस्वी सुगन बाई छाजेड़, स्वरूप छाजेड़, सौरभ छाजेड़, शोभा छाजेड़, मंजू खींवसरा, तेजल गोलेच्छा को परिवार वाले गन्ने के रस से पारणा घर पर ही कराएंगे। ऐसा पहली बार होगा जब आखातीज पर रिश्तेदार व समाजजन लॉकडाउन होने के कारण वर्षीतप के तपस्वी से रूबरू होकर तपस्वियों की अनुमोदना नहीं कर पाएंगे। इस के लिए नगर के जैन समाज की सामाजिक संस्थाओं ने नगर की श्री श्वेतांबर श्री संघ, महिला मंडल, श्री शांति रमणीक बहु मंडल, जैन श्वेतांबर सोश्यल ग्रुप, अणु संस्कार पाठशाला नगर के तपस्वियों को ऑन लाइन तपस्या की अनुमोदना कर रहे हैं। रेखा छाजेड़ ने बताया लॉक डाउन का पालन करते हुए सोश्यल मीडिया के वाट्सएप पर बनाए ग्रुप के माध्यम से ऑनलाइन तपस्वियों के तप की अनुमोदना अनुमोदना के लिए ऑनलाइन प्रस्तुतियां हुई है।
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