जिले की एक युवती से उसके भाई को पुलिस में नौकरी लगाने के नाम पर फर्जी आईबी अफसर बनकर युवक ने 4.50 लाख रुपए की ठगी की। इस ठगी में युवती का मुंहबोला जीजा भी शामिल था। दो साल बाद भी जब नौकरी नहीं लगी और दिया पैसा वापस नहीं मिला तो युवती अपने पिता के साथ कांकेर कोतवाली पहुंच फर्जी आईबी अफसर व जीजा के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई। पुलिस दोनों के खिलाफ अपराध दर्ज कर जांच कर रही है।
चारामा थाना के करिहा निवासी नीरा सिन्हा पिता राम कुमार सिन्हा 7 अगस्त को कांकेर थाना पहुंची। जहां युवती ने बताया उसका भाई चंदन पुलिस भर्ती के लिए आवेदन किया था। इसके चलते रिश्ते में लगने वाला जीजा शिवेन्द्र जैन निवासी सरोना मई 2018 को अपने दोस्त दीपेंद्र जैन निवासी फरसगांव के साथ उनके घर पहुंचे थे। उसके जीजा ने दीपेंद्र को खुफिया विभाग का अफसर बताते कहा था कि यह पुलिस विभाग में नौकरी लगा सकता है।
दीपेंद्र ने भी स्वयं को खुफिया विभाग अधिकारी बताते कांकेर में पदस्थ होना बताया। इसके साथ ही भाई की नौकरी लगाने के लिए पैसा लगने की बात कही। इस पर युवती व उसके पिता ने कहा पहले नौकरी लगा दो फिर पैसा ले लेना। इस पर दीपेंद्र बोला कि उपर तक पैसा पहुंचाना पड़ता है इसलिए पूरा पैसा पहले चाहिए। शिवेेंद्र ने भरोसा दिलाने कहा कि वह भी अपनी पत्नी की पुलिस में नौकरी लगाने दीपेंद्र को पैसा दिया है। पैसा नहीं डुबेगा, मेरा विश्वास करो। इसके बाद तीन लाख रुपए नगद व एक लाख रुपए युवती के बैंक अकाउंट से ट्रांसफर किए गए।
एसआई व आरक्षक का रेट किया था फिक्स
दीपेंद्र नाग ने स्वयं को खुफिया विभाग का अफसर तो बताया ही। साथ यह भी कहा कि पुलिस में उसकी अच्छी पहुंच है। अब तक बहुत से लोगों का नौकरी भी लगा चुका हूं। इसके लिए पुलिस के अधिकारियों ने एसआई व आरक्षक के लिए रेट भी फिक्स कर रखा है। इसमें एसआई के लिए 6.50 लाख तथा आरक्षक के लिए 3.50 लाख रुपए देना होगा।
कोतवाली टीआई ने कह- जल्द गिरफ्तारी होगी
कोतवाली टीआई मोरध्वज देशमुख ने बताया दोनों आरोपियों के खिलाफ अपराध पंजीबद्ध कर उनकी तलाश की जा रही है। जल्द ही दोनों की गिरफ्तारी कर ली जाएगी।
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