झारखंड-यूपी बॉर्डर पर स्थित बिलासपुर में डयूटी पर तैनात मजिस्ट्रेट एवं पुलिस कर्मियों पर यूपी से झारखंड में प्रवेश करने वालों से कथित रूप से पैसे वसूलने का मामला प्रकाश में आने के बाद जिला पुलिस अधीक्षक श्रीकांत खोत्रे ने अवर निरीक्षक अमरेंद्र कुमार, हवलदार कमलेश राम, आरक्षी शैलेंद्र कुमार तथा अनिल कुमार यादव को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है। वहीं मजिस्ट्रेट के रूप में पदस्थापित बंशीधरनगर प्रखंड के कनीय अभियंता जीवनदीप को भी अवैध वसूली में दोषी मानते हुए कार्रवाई के लिए संबंधित विभाग को लिखा है।
ज्ञात हो कि मुकुंद नामक ट्विटर यूजर से ट्वीट कर यूपी से झारखंड आने के क्रम में विंढमगंज बॉर्डर पर 500 रुपए मांगे जाने की शिकायत की है। मुकुंद ने अपने इस ट्वीट के माध्यम से पीएम नरेंद्र मोदी, सीएम हेमंत सोरेन, झारखंड पुलिस, राज्य के मंत्री मिथिलेश ठाकुर और डीसी गढ़वा को जानकारी दी है। मुकुंद ने ट्वीट किया है कि उत्तरप्रदेश से आने के क्रम में विंढमगंज बॉर्डर के पास झारखंड पुलिस द्वारा रोका गया और पास मांगा गया। पास नहीं रहने पर 500 रुपये मांगा गया। सरकार से पूछना चाहूंगा क्या यह पैसा सरकारी फंड में जा रहा है।
पीड़ित युवक के ट्वीट के बाद सक्रिय जिले के प्रशासनिक अधिकारी के निर्देश पर थाना प्रभारी पंकज तिवारी दूसरे वाहन से वेश बदलकर मामले की जांच करने बॉर्डर पर पहुंचे। वे सीधे बॉर्डर पार कर यूपी गए और थोड़ी दूर से जब वे लौटकर झारखंड की सीमा में प्रवेश आए तो मजिस्ट्रेट और पुलिसकर्मी उनके वाहन की ओर लपके।
इसी बीच किसी पुलिस कर्मी ने थाना प्रभारी को पहचान लिया जिसके बाद बॉर्डर पर तैनात लोगों के होश उड़ गए। थाना प्रभारी पंकज तिवारी ने वहां से एसडीपीओ अजीत कुमार को सूचित किया। जिसके बाद बॉर्डर पर पहुंचे एसडीपीओ ,पुलिस इंस्पेक्टर तथा थाना प्रभारी ने ड्यूटी पर तैनात मजिस्ट्रेट और पुलिसकर्मियों को जमकर फटकार लगाई।
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