जिल में अधूरी तैयारियों के साथ आंगनबाड़ी केंद्र खोलने की तैयारी शुरू हो गई है। शासन ने 50 बच्चों की उपस्थित के साथ केंद्र खोलने के आदेश जारी किया गया है, लेकिन महिला एवं बाल विकास अभी तक केंद्रों को सैनिटाइज नहीं करा पाया है। इसके अलावा बच्चों के लिए सैनिटाइजर और मास्क की व्यवस्था सुनिश्चित नहीं हो पाई है। इधर रेडी-टू-ईट के वितरण में भी पेंच है। आदेश से पहले ही जिले में सितंबर माह का 15 दिन का पोषण आहर वितरण हो चुका है। ऐसे में 7 सितंबर सोमवार से कितने केंद्रों को खोला जाएगा, इसके लेकर संशय बना हुआ है।
सोमवार से जिले के करीब 1500 आंगनबाड़ी केंद्र का संचालन दोबारा से शुरू करने की तैयारी है। इसमें करीब 900 भवन खुद की जमीन में बने हुए हैं। जबकि 500 किराए के भवन में चल रहे हैं। शासन ने 2 सितंबर को प्रदेशभर में आंगनबाड़ी केंद्र खोलने का आदेश जारी किया। सोमवार से केंद्र के खुलने की किस तरह टाइमिंग रहेगी। इसे लेकर किसी भी परियोजना में आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को कोई निर्देश जारी नहीं किया गया है। इसके अलावा केंद्र खोलने को लेकर सबसे बड़ी दिक्कत रेडी-टू-ईट को लेकर है।
लॉकडाउन से पिछले पांच माह से पोषण आहर का वितरण किया जा रहा था। महीने में दो बार वितरित होने वाले आहर की पहले खेप दो सितंबर को आदेश जारी होने वाले ही जारी कर दी गई। ऐसे में यदि केंद्र खोले गए, तो बच्चों को किस तरह गरम उपलब्ध कराया जाएगा। इसे लेकर विभागीय अधिकारी संशय में हैं। कलेक्टर डा. सर्वेश्वर नरेंद्र भुरे ने समिति के माध्यम से सैनिटाइजर और साबुन सहित अन्य जरूरी उपाय के लिए निर्देशित किया है।
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